हिमाचल में बादल फटने से भारी तबाही, 20 गाड़ियां बहीं, शिमला में महिला मलबे में दबी
हिमाचल प्रदेश में गुरुवार को बादल फटने से भारी तबाही हुई। किन्नौर जिले के सांगला वैली में बादल फटा, जिससे फ्लैश फ्लड आ गया. इस घटना में करीब 20 गाड़ियां बह गईं और कई घरों को नुकसान पहुंचा। शिमला जिले के चिड़गांव में भी बादल फटा, जिससे लैंडस्लाइड हुई। इस घटना में एक महिला मजदूर मलबे में दब गई है।
सांगला वैली में बादल फटने से तबाही।
सांगला वैली में बादल फटा करीब साढ़े छह बजे। इस घटना से फ्लैश फ्लड आ गया, जिससे पानी और मलबा सड़कों पर आ गया। कई गाड़ियां बह गईं, जबकि कुछ मलबे की चपेट में आ गईं। फ्लैश फ्लड की वजह से जो मलबा आया है, उससे सेब के बागीचों को भी नुकसान पहुंचा है। साथ ही मटर और अन्य फसल भी तबाह हो गई है।
चिड़गांव में लैंडस्लाइड, महिला मजदूर मलबे में दबी।
शिमला जिले के चिड़गांव में भी बादल फटा, जिससे लैंडस्लाइड हुई। इस घटना में एक महिला मजदूर मलबे में दब गई है। महिला का नाम गीता देवी है और वह नेपाली मूल की है। वह बागीचे में काम कर रही थी, जब लैंडस्लाइड हुई। उसे निकालने की कोशिशें की जा रही हैं, लेकिन अभी तक उसे नहीं निकाला जा सका है।
बादल फटने से हिमाचल में भारी तबाही।
हिमाचल प्रदेश में लगातार बादल फटने की घटनाएं सामने आ रही हैं। बीते कुछ दिनों में प्रदेश के कई जिलों में बादल फटे हैं, जिससे भारी नुकसान हुआ है. इस घटना से लोगों को काफी परेशानी हुई है। सरकार ने राहत और बचाव कार्यों के लिए सभी संसाधनों को जुटा दिया है।
बादल फटने से बचाव के उपाय।
बादल फटने से बचाव के लिए कुछ उपाय हैं, जिनका पालन किया जा सकता है। इन उपायों में शामिल हैं:
- बादल फटने की चेतावनी के बाद घरों से बाहर न निकलें।
- अगर आप घर से बाहर हैं, तो ऊंचे स्थानों पर चले जाएं।
- नदी, नालों और अन्य जलाशयों के किनारे न जाएं।
- पेड़ों के नीचे न खड़े हों।
- अपने वाहनों को सुरक्षित स्थान पर रखें।
बादल फटने एक प्राकृतिक आपदा है, जिससे भारी नुकसान हो सकता है। इन उपायों का पालन करके आप बादल फटने से होने वाले नुकसान से बच सकते हैं।